जहाजपुर (मनोज जैन नायक) जैन समाज के सर्वाधिक लोकप्रिय दिगम्बर जैन अतिशय क्षेत्र स्वस्ति धाम जहाजपुर में 31अक्टूबर से 02 नवंबर तक त्रिदिवसीय महामहोत्सव विभिन्न धार्मिक, सामाजिक एवं सांस्कृतिक कार्यक्रमों के साथ हर्षोल्लास पूर्वक मनाया जा रहा है ।
शुभकामना परिवार के राष्ट्रीय अधिवेशन के मुख्य संयोजक सुनील जैन बंधु आगरा द्वारा प्रदत्त जानकारी के अनुसार उत्तर भारत के प्रथम दिगम्बराचार्य आचार्यश्री शांतिसागरजी महाराज (छाणी) परंपरा के पंचम पट्टाचार्य सिंहरथ प्रवर्तक, त्रिलोकतीर्थ प्रणेता विद्याभूषण सन्मतिसागरजी महाराज की सुयोग्य एवं परम प्रभावक शिष्या एवं षष्ट पट्टाचार्य सराकोद्धारक आचार्यश्री ज्ञानसागरजी महाराज से गणिनी पद सुशोभित भारत गौरव, स्वस्तिधाम प्रणेत्री गुरुमां गणिनी आर्यिका स्वस्तिभूषण माताजी की पावन प्रेरणा एवं आशीर्वाद से उन्हीं के पावन सान्निध्य एवं निर्देशन में श्री मुनिसुव्रतनाथ दिगम्बर जैन अतिशय क्षेत्र जहाजपुर में 31अक्टूबर से 02 नवंबर तक तीन दिवसीय महामहोत्सव हर्षोल्लास पूर्वक मनाया जा रहा है ।
इस त्रिदिवसीय महामहोत्सव के प्रथम दिन शुक्रवार 31 अक्टूबर को उत्तर भारत के प्रथम दिगम्बराचार्य आचार्यश्री शांतिसागरजी महाराज छाणी का 138वां अवतरण दिवस मनाया जायेगा । इस अवसर पर आचार्यश्री की जन्मस्थली वागड़ क्षेत्र के 1038 गुरुभक्त महामहोत्सव में सहभागिता प्रदान कर पूज्य आचार्यश्री की अष्टदृव्य से महापूजन करेंगे । आचार्य श्री शान्तीसागर जी छाणी के आचार्यपदारोहण शताब्दि के उपलक्ष्य में आचार्यश्री से सम्बंधित प्रतियोगिता तथा सभी कार्यक्रम को सफल बनाने में कमेटी के महामन्त्री सुरेन्द्र कुमार जैन (गैस वाले) सहारनपुर एवं संगठन मन्त्री विकास जैन सहारनपुर की अहम भूमिका बताई जा रही है।
महामहोत्सव के द्वितीय दिन शनिवार 01 नवम्बर को गुरुमां गणिनी आर्यिका स्वस्तिभूषण माताजी ससंघ का पिच्छिका परिवर्तन समारोह एवं शुभकामना परिवार का राष्ट्रीय अधिवेशन होगा । शुभकामना परिवार की देश के 12 प्रांतों में लगभग 500 शाखाएं संचालित हैं। जो पूज्य गुरुमां स्वस्तिभूषण माताजी एवं ब्रह्मचारिणी बहिन प्रियंका दीदी के मार्गनिर्देशन में कार्य करती हैं।
ज्ञातव्य हो कि 01 नवंबर को ही पूज्य गुरुमां गणिनी आर्यिका स्वस्तिभूषण माताजी का भी अवतरण दिवस है, सो विशेष कार्यक्रम भी होंगे ।
महामहोत्सव के अंतिम दिन रविवार 02 नवंबर को भूगर्भ से प्रगटित अतिशयकारी चिंतामणि विघ्नहरण सर्वारिष्ट निवारक श्री 1008 मुनिसुव्रतनाथ भगवान के श्री चरणों में श्री मुनिसुव्रतनाथ विधान का आयोजन रखा गया है । जिसमें 1008 जोड़े एकसाथ बैठकर महाअर्चना करते हुए एक कीर्तिमान स्थापित करेंगे।
जैन बंधु के अनुसार आने वाले स्थितियों के आवास हेतु स्वस्तिधाम, स्वस्ति मांगलिक भवन के अतिरिक्त जहाजपुर की अन्य धर्मशालाएं एंव होटलो में भी ठहराने की व्यवस्था की गई है। अधिवेशन में पधारे सभी शाखा संयोजक/संयोजिका तथा सदस्यों का सम्मान एंव उपहार राष्ट्रीय शुभकामना परिवार के राष्ट्रीय अध्यक्ष जय कुमार कोठारी भीलवाड़ा और कार्याध्यक्ष श्रीमति (डाँ) रमाजी जैन दिल्ली की ओर से की जा रही है।
अतिशय क्षेत्र जहाजपुर कमेटी एवं आयोजन समिति द्वारा बड़े पैमाने पर व्यवस्थाएं की जा रही हैं। तीन दिवसीय महामहोत्सव में सम्पूर्ण भारतवर्ष से हजारों की संख्या में साधर्मी बंधुओं के सम्मिलित होने की संभावना को देखते हुए आयोजन समिति द्वारा आवास, भोजन एवं परिवहन संबंधी सभी व्यवस्थाओं की अंतिम रूप दिया जा रहा है । आयोजकों को उम्मीद है कि तीन दिन के महामहोत्सव में लगभग 8 हजार साधर्मी बंधु सहभागिता प्रदान करेंगे ।
स्वस्तिधाम जहाजपुर में होगा त्रिदिवसीय महामहोत्सव आचार्यश्री शांतिसागर महाराज का 138वां अवतरण दिवस

